कोई चीज बहुत जल्दी, बहुत आसानी से हो जाए तो बहुतों के लिए उसे पचा पाना बहुत मुश्किल होता है। शेयर बाजार जिस तरह से सुधरा है, निफ्टी 5180 और सेंसेक्स 17,770 से जिस तेजी से उठा है, उससे कभी-कभी डर भी लगता है कि कहीं सब फिर से पटरा न हो जाए। वैसे, आपको याद होगा कि बाजार के इन स्तरों पर पहुंचने पर हमने साफ कहा था कि वह अब तलहटी पकड़ चुका है औरऔरऔर भी

बाजार का हाल जो भी हो, लेकिन उसकी सवारी गांठने वाले विशेषज्ञों का हाल बडा रोचक है। ये ‘विशेषज्ञ’ लोग पहले कह रहे थे कि बाजार का 5500 पर पहुंचना असंभव है और अब, जब वहां तक पहुंच गया तो कह रहे हैं कि यह 5650 तक नहीं जा सकता है। लेकिन निफ्टी जब 5705 तक भी चला गया तो कहने लगे कि अब 5270 का स्टॉप लॉस लगाकर बेचो क्योंकि इसका 5720 को पार कर पानाऔरऔर भी

डाउ जोंस 11,300 के ऊपर बढ़कर बंद हुआ। यह ब्रेक-आउट का साफ संकेत है और यह अब 15,000 की तरफ बढ़ेगा। पहला पड़ाव 11,800 का है। यह तेजी अमेरिका में दूसरी क्वांटिटेटिव ईजिंग (क्यूई-2) का असर है। अमेरिकी अर्थव्यवस्था को दिए जानेवाले इस प्रोत्साहन की तारीख घोषित हो चुकी है। इसका आकार 3.3 लाख करोड़ डॉलर का हो सकता है। हालांकि अमेरिकी सीनेट ने पहले 60 करोड़ डॉलर की राशि ही पारित की थी। आप इसकी अहमियतऔरऔर भी