बाजार को मनचाहे अंदाज में नचानेवालों के लिए आज से बेहतर कोई दूसरा दिन हो नहीं सकता था। ब्याज दर में ज्यादा से ज्यादा 0.25 फीसदी वृद्धि की अपेक्षा थी। लेकिन असल में यह निकली 0.50 फीसदी। इसे रोलओवर के पहले बाजार को तगड़ा झटका देने के इस्तेमाल किया गया। हालांकि बाजार ने पिछले दो हफ्तों में हासिल सारी बढ़त एक झटके में खो दी है। लेकिन निश्चित तौर पर बाजार की अंतर्धारा नहीं बदली है। केवलऔरऔर भी

बाजार खुलते ही निफ्टी 5645 तक चला गया। लेकिन बड़ी साफ वजहों से खुद को इस स्तर पर टिकाए नहीं रख सका और धड़ाधड़ 5555 तक गिर गया। बंद हुआ है 0.83 फीसदी की गिरावट के साथ 5567.05 पर। ट्रेडर भौचक और भ्रमित हैं। उनका वही पुराना सवाल है कि बाजार इस तरह आखिर गिरा क्यों? तो प्यारे! यह रोलओवर की पुरानी तकलीफ है। इस डेरिवेटिव सेटलमेंट की एक्सपायरी में सिर्फ सात दिन बचे हैं। इस बीचऔरऔर भी

पीएसएल लिमिटेड का शेयर कल एनएसई, बीएसई दोनों ही स्टॉक एक्सचेंजों में 52 हफ्ते की तलहटी पर पहुंच गया। वो बीएसई (कोड – 526801) में 114.15 रुपए और एनएसई (कोड – PSL) में 113.60 रुपए तक गिर गया। ऐसा क्यों हुआ, नहीं पता। हां, कंपनी ने महीने भर पहले 29 सितंबर को इतना जरूर बताया था कि सितंबर 2005 में जारी 4 करोड़ डॉलर के जीरो कूपन विदेशी मुद्रा परिवर्तनीय बांडों (एफसीसीबी) की अदायगी 7 सितंबर 2010औरऔर भी