भारत में साल 2015 तक खेल के धंधे से हर साल दो अरब डॉलर का राजस्व पाया जा सकता है।  इसमें टेलिविजन मीडिया और प्रायोजन से होने वाली आय की खास भूमिका होगी। यह निष्कर्ष है दुनिया की जानीमानी सलाहकार और एकाउंटिग फर्म प्राइस वॉटरहाउस कूपर्स (पीडब्ल्यूसी) का। पीडब्ल्यूसी के ताजा अध्ययन के मुताबिक आनेवाले सालों में देश में टीवी विज्ञापन और प्रायोजन आय में काफी इजाफा होगा जिससे भारत ब्रिक देशों (रूस, चीन, भारत और ब्राजील)औरऔर भी

सरकार ने देश के बाहर और भीतर बेहिसाब धन व आय से अधिक सम्पत्ति का अनुमान लगाने और राष्ट्रीय सुरक्षा पर इसके पड़नेवाले असर का पता लगाने के लिए एक अध्ययन शुरू किया गया है। इसकी रिपोर्ट सितंबर 2012 तक मिल जाएगी। वित्त मंत्री प्रणव मुखर्जी ने गुरुवार को लोकसभा में एक लिखित उत्तर में बताया कि सरकार ने वित्त संबंधी स्थायी समिति की सिफारिशों के आधार पर यह अध्ययन शुरू किया है। उन्होंने बताया कि यहऔरऔर भी

उभरते बाजारों में निवेश करने वाले प्राइवेट इक्विटी (पीई) फंडों ने सबसे ज्यादा धन भारत और चीन में लगाया है। उभरते बाजारों में पीई निवेश में इन दो देशों की कुल हिस्सेदारी 68 फीसदी है। इमर्जिंग मार्केट्स प्राइवेट इक्विटी एसोसिएशन द्वारा कराए गए अध्ययन के मुताबिक, इस साल जून तक के छह महीनों में दुनिया में हुए कुल पीई निवेश में चीन और भारत की हिस्सेदारी 68 फीसदी रही। जहां चीन में 5.8 अरब डॉलर का पीईऔरऔर भी

अगर स्वास्थ्य बीमा सभी के लिए अनिवार्य कर दी जाए और शिक्षा शुल्क की तरह सभी से इसका प्रीमियम लिया जाए तो कैसा रहेगा! यह सुझाव दिया गया है कि उद्योग संगठन फिक्की और बीमा कंपनी आईएनजी इंश्योरेंस द्वारा गठित फाउंडेशन फोर्टे (फाउंडेशन ऑफ रिसर्च, ट्रेनिंग एंड एजुकेशन इन इंश्योरेंस इन इंडिया) के एक ताजा अध्ययन में। बता दें कि जर्मनी समेत तमाम यूरोपीय देशों में अनिवार्य स्वास्थ्य बीमा का प्रावधान है। इसका प्रीमियम नौकरीपेशा लोगों केऔरऔर भी

देश के ग्रामीण इलाकों में इंटरनेट का सक्रिय इस्तेमाल करनेवालों की संख्या चालू वर्ष 2010 के अंत तक 54 लाख हो जाएगी। यह 2009 के सक्रिय इंटरनेट ग्राहकों की संख्या 42 लाख से 28.6 फीसदी अधिक होगी। यह अनुमान है इंटरनेट एंड मोबाइल एसोसिएशन ऑफ इंडिया (आईएएमएआई) और मार्केट रिसर्च फर्म, आईएमआरबी की संयुक्त अध्ययन रिपोर्ट का। रिपोर्ट से पता चला है कि इस समय गांवों के 16 फीसदी लोग इंटरनेट का इस्तेमाल ऑनलाइन समाचार पढ़ने केऔरऔर भी